मुस्लिम महिलाओं को अपमानित करने और उनको डराने की नियत से बनाए गए ‘बुल्ली बाई एप’ के मुख्य क्रिएटर को दिल्ली पुलिस, स्पेशल सेल की आईएफएसओ (इंटेलिजेंस फ्यूजन एंड स्ट्रैटेजिक ऑप्स) यूनिट ने असम से गिरफ्तार किया है। आरोपी की पहचान जोरहाट, असम निवासी नीरज बिश्नोई के रूप में हुई है। कोर्ट में पेश करने के बाद उसे सात दिनों की पुलिस हिरासत में भेज दिया।
पुलिस का दावा है कि नीरज ही बुल्ली बाई एप का मास्टरमाइंड है। उसने ही गिटहब पर बुल्ली बाई एप को बनाया था। इसके बाद इसको प्रमोट करने के लिए ट्वीटर पर ‘बुल्ली बाई अंडर स्कोर’ नाम से ट्विटर अकाउंट बनाया। बाद में इसे सोशल मीडिया पर ज्यादा से ज्यादा शेयर कर दिया गया। इसके पास से मिले मोबाइल और लैपटॉप से इसकी पुष्टि हो गई है। आरोपी को गिरफ्तार कर हवाई जहाज से दिल्ली लाया गया। इसके बाद इसे कोर्ट में पेश कर दिया गया। पुलिस आरोपी से पूछताछ के मामले की जांच कर रही है। ‘बुल्ली बाई एप’ मामले में अब तक की यह चौथी गिरफ्तारी है। मुंबई पुलिस की साइबर सेल 19 साल की एक युवती समेत तीन लोगों को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।
स्पेशल सेल की आईएफएसओ यूनिट के पुलिस उपायुक्त केपीएस मल्होत्रा ने बताया कि ‘बुल्ली बाई एप’ मामले में टेक्निकल सर्विलांस और आईपीडीआर (इंटरनेट प्रोटोकोल डिटेल रिकोर्ड्स) की जांच की। छानबीन में पता चला कि आरोपी असम में मौजूद है। बुधवार सुबह फौरन एक टीम को असम भेजा गया। वहां लोकल पुलिस की मदद से आरोपी की पहचान शुरू की गई। बुधवार देर शाम उसके ठिकाने की पहचान कर ली गई। इसके बाद गुरुवार तड़के टीम ने आरोपी नीरज बिश्नोई को दिगंबर, जोरहाट, असम इलाके से दबोच लिया।
पुलिस की पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह भोपाल वेल्लोर इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नॉलाजी से बीटेक (CSC) द्वितीय वर्ष का छात्र है। नीरज ने ऐसा क्यों किया और उसके साथ और कौन-कौन लोग इसमें शामिल है, इसका पता लगाया जा रहा है। उसके पास से मिले मोबाइल और लैपटॉप से पुलिस के हाथ कई अहम सुराग मिले हैं। शुरुआती पूछताछ में आरोपी ने बताया कि गिटहब पर एप बनाने के लिए उसने सोशल मीडिया पर इसे प्रमोट करने के लिए प्रोपगेटर्स को दिया। इसके बाद तेजी से सोशल मीडिया पर इसका प्रचार होने लगा। पुलिस आरोपी को रिमांड पर लेकर उससे पूछताछ करने में जुटी है।
बता दें कि शनिवार को एक मुस्लिम महिला पत्रकार ने ‘बुल्ली बाई एप’ की शिकायत दक्षिण-पूर्व जिले के साइबर थाने को दी थी। पुलिस ने मामला दर्ज कर छानबीन शुरू की। छानबीन में पता चला कि ‘बुल्ली बाई एप’ पर करीब 100 प्रभावशाली मुस्लिम महिलाओं की तस्वीरें डालकर उनकी बोली लगाई गई थी। हालांकि वास्तव में उनकी बोली नहीं लगी थी, उनको अपमानित करने और डराने के मकसद से ऐसा किया गया था। विवाद के बाद सोशल मीडिया पर मचे घमासान के बीच गिटहब से एप को हटा दिया गया।
पुलिस ने ट्विटर व गिटहब को पत्र लिखकर इसकी जानकारी भी मांगी थी। दूसरी ओर मुंबई पुलिस ने भी इस संबंध में मामला दर्ज कर एक युवती समेत तीन आरोपियों को उत्तराखंड और बेगलुरु से गिरफ्तार किया था। बुधवार को ही दिल्ली पुलिस आयुक्त राकेश अस्थाना ने बुल्ली बाई एप की जांच का जिम्मा स्पेशल सेल की आईएफएसओ को सौंप दिया था। पुलिस अब आरोपी नीरज बिश्नोई से पूछताछ कर इस बात का पता लगाने का प्रयास करेगी कि मुंबई में पकड़े तीनों लोगों इसका कोई लिंक है या नहीं। पुलिस ने फिलहाल आरोपी के मोबाइल और लैपटॉप को कब्जे में लेकर फारेंसिक जांच के लिए भेज दिया है।
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