नई दिल्ली : Insurance :देश में सभी गाड़ियों का इंश्योरेंस (Insurance ) होना जरूरी है। आपको पैन इंडिया नेटवर्क वाली कंपनी से ही व्हीकल इंश्योरेंस (Insurance )लेना चाहिए नहीं तो पछताना पड़ सकता है। मोटर व्हीकल एक्ट के मुताबिक कोई गाड़ी का इंश्योरेंस (Insurance )कराए बिना उसे चलाता है तो यह कानूनी अपराध है। व्हीकल इंश्योरेंस (vehicle-insurance ) उस वक्त काम आता है जब आपका किसी अन्य के वाहन के साथ एक्सीडेंट हो जाता है। इस स्थिति में सामने वाली पार्टी कोर्ट में जाकर खुद को हुए नुकसान के लिए आपसे हर्जाना मांगती है। हममें से कोई भी इस स्थिति में फंस सकता है।
टू-व्हीलर्स खरीदते समय इंश्योरेंस लेना अनिवार्य
इस परस्थिति में व्हीकल इंश्योरेंस (Auto Insurance ) आपके सबसे ज्यादा काम आता है। अब कार या टू-व्हीलर्स खरीदते समय ही 3 या 5 साल के लॉन्ग टर्म थर्ड पार्टी इंश्योरेंस को लेना अनिवार्य है। एक्सीडेंट, प्राकृतिक आपदा, बाइक, स्कूटर चोरी होने की स्थिति में बीमा पॉलिसी आपके नुकसान को कवर करती है। इंश्योरेंस (insurance )लेने पर आपको टूव्हीलर इंश्योरेंस से होने वाली दुर्घटनाओं से नुकसान का जिम्मा इश्योरेंस कंपनियों का है।
insurance लेते वक्त रखें इस बात का ध्यान
कोई भी व्हीकल इंश्योरेंस (vehicle-insurance ) कंपनी आपको सिर्फ 7.5 लाख रुपये का मुआवजा देती है। हालांकि मृत्यू या फिर गंभीर चोट की स्थिति में यह सीमा तय लागू नहीं होती। व्हीकल इंश्योरेंस (vehicle-insurance ) लेते वक्त सबसे ज्यादा ध्यान रखने योग्य बात यह है कि आपको उस कंपनी से ही बीमा पॉलिसी लेनी चाहिए जिसका पैन- इंडिया में गैरेज नेटवर्क मजबूत हो।
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